गोरखपुर : समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव की तरफ से जारी आह्वान संदेश को सभी तक पहुंचाने के लिए नगर निगम में जुटे पार्टी के महानगर कार्यकर्ताओं और पुलिस के बीच तीखी नोकझोंक हुई। पुलिस परिसर में कार्यकर्ताओं के एकत्रित होने का विरोध कर रही थी। उसके मुताबिक धारा 144 लागू होने की वजह से बिना अनुमति के पांच से अधिक लोग नहीं जुट सकते थे।
इधर महानगर के निवर्तमान अध्यक्ष जियाउल इस्लाम समेत अन्य पार्टी नेताओं का तर्क था कि वह सरकार का विरोध नहीं कर रहे हैं। उन्हें धरना-प्रदर्शन या ज्ञापन नहीं देना है। निगम परिसर से सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कर चार से पांच कार्यकर्ताओं का अलग-अलग दल शहर के विभिन्न इलाकों में निकल जाएगा। पुलिस का कहना है कि इस मामले में मुकदमा दर्ज किया जाएगा।
करीब आधे घंटे तक कोतवाली और नगर निगम पुलिस चौकी पर तैनात पुलिसकर्मियों ने विरोध किया मगर इसी बीच कार्यकर्ता अलग-अलग पांच-पांच की टोली बनाकर शहर के अन्य इलाकों के लिए पार्टी का आह्वान संदेश देने निकल पड़े। इस नोकझोंक के बाद नगर निगम में कई और थानों की पुलिस पहुंच गई मगर तब तक सपा कार्यकर्ता वहां से निकल चुके थे।
कार्यकर्ताओं का कहना था कि पुलिस और प्रशासन लाठी के दम पर जबरन आवाज दबाना चाहती है। निगम में सिर्फ चंद मिनटों के लिए कार्यकर्ता सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते हुए जुटे थे ताकि वहीं से पांच-पांच की टोली बनाकर, संबंधित को अलग-अलग क्षेत्रों में भेजा जा सके। मगर पुलिस उसका भी विरोध कर रही है।
कार्यकर्ताओं ने पहले दिन सोमवार को गोलघर, बैंक रोड, घोष कंपनी, शास्त्री चौक, मियां बाजार, जिला परिषद रोड समेत दो दर्जन इलाकों में पैदल भ्रमण कर दुकानदारों, राहगीरों को पार्टी का आह्वान संदेश दिया। इस दौरान पूर्व जिला अध्यक्ष प्रहलाद यादव, पूर्व विधायक विजय बहादुर यादव, निवर्तमान महासचिव सिंहासन सिंह यादव, कीर्ति निधि पांडेय, हीरालाल यादव, अमीरूद्दीन अंसारी, चंद्रभान प्रजापति, वेंकटेश्वर नाथ तिवारी, अशोक चौधरी, जितेंद्र यादव, अशोक यादव, उज्जैर अहमद, रमेश यादव, लाल बहादुर, अभिमन्यु, विनोद विश्वकर्मा समेत कई कार्यकर्ता मौजूद रहे।
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